कानपुर के सपा विधायक अमिताभ बाजपेई को MP/MLA कोर्ट ने एक साल की सजा सुनाई है. सजा के बाद विधायक ने कोर्ट में कुल 8600 रुपए का बेल बॉन्ड जमा किया. इसके बाद वह जमानत पर रिहा हो गए. चूंकि सजा दो साल से कम है, इसलिए उनकी विधायकी भी सुरक्षित रहेगी.
पढ़ें :- मोदी-जिनपिंग की मुलाकात के बाद एक नई उम्मीद... LAC विवाद पर सुलझे सकते है रिश्ते
दो अक्टूबर, 2011 को सरकारी कार्य में बाधा, बलवा, मारपीट और एससी-एसटी के तहत सपा विधायक अमिताभ बाजपेई पर मुकदमा दर्ज हुआ था. इसी मामले की शुक्रवार दोपहर MP/MLA कोर्ट में सुनवाई हुई. जज ने शाम को फैसला सुनाया। बता दें, अमिताभ बाजपेई आर्य नगर विधानसभा सीट से लगातार दो बार से विधायक हैं.
यह है पूरा मामला
वाणिज्य कर के असिस्टेंट कमिश्नर दिनेश पाल ने 2 अक्टूबर 2011 को मंधना में जीटी रोड के पास वाहनों की जांच के दौरान पिकअप रोका तो चालक ने किसी को फोन किया. आरोप है कि सपा विधायक अमिताभ बाजपेई समेत 40-50 लोग चार पांच गाड़ियों से आ वहां पहुंचे और टीम को घेर लिया.
सरकारी कार्य में बाधा डालने, सरकारी कर्मियों के साथ मारपीट करने, बलवा और एससी-एसटी के तहत बिठूर थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था. वर्तमान में यह मुकदमा विशेष न्यायाधीश MP/MLA कोर्ट में विचाराधीन है.मुकदमे में बहस हो चुकी है और यह निर्णय के स्तर पर चल रहा है.
पढ़ें :- झमाझम बारिश ने तोड़ा चार साल का रिकॉर्ड... स्कूल बंद, सड़कें बनीं तालाब, ऑरेंज अलर्ट जारी
अमिताभ की ओर से अधिवक्ता ने कोर्ट में गवाहों के माध्यम से अभियोजन की कहानी को झूठा साबित करने की कोशिश की थी. एडीजीसी भास्कर मिश्रा ने बताया की अभियोजन की ओर से पेश किए गए सबूतों और गवाहों के आधार पर कोर्ट ने अमिताभ पर लगे आरोपों को सही पाया और उन्हें दोषी करार दिया है.