भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से शुक्रवार को चंद्रयान-3 चंद्रमा मिशन लॉन्च कर दिया।
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श्रीहरिकोटा। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से शुक्रवार को चंद्रयान-3 चंद्रमा मिशन लॉन्च कर दिया। चंद्रयान-3 एक लैंडर, एक रोवर और एक प्रोपल्शन मॉड्यूल से लैस है। इसका वजन करीब 3,900 किलोग्राम है।
चंद्रयान-3 ने शुक्रवार दोपहर 2:35 बजे चंद्रमा की ओर उड़ान भरी। इसे आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा स्थित सतीश धवन स्पेस सेंटर से छोड़ा गया है। 615 करोड़ की लागत से तैयार हुआ यह मिशन करीब 50 दिन की यात्रा के बाद चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव के पास लैंड करेगा। अगर दक्षिणी ध्रुव पर लैंडिग होती है, तो भारत दक्षिणी ध्रुव पर पहुंचने वाला विश्व का पहला देश बन जाएगा। इस मिशन के लिए पीएम मोदी ने ट्वीट कर शुभकामनाएं दीं और कहा कि आज का दिन सुनहरे अक्षरों में अंकित रहेगा।
जबकि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया ने भी ट्वीट किया, “गर्व का क्षण, भारत को बधाई! चंद्रयान-3 के सफल प्रक्षेपण पर टीम इसरो को बधाई। ये विशेष क्षण हमेशा याद रखे जाएंगे! हर भारतीय को आज बेहद गर्व है। इसरो वैज्ञानिकों ने प्रक्षेपण यान से उपग्रह के सफलतापूर्वक अलग होने की घोषणा की।
सफल प्रक्षेपण के बाद इसरो में मना जश्न
उपग्रह को अब चंद्रमा की यात्रा शुरू करने के लिए वांछित कक्षा में स्थापित कर दिया गया है। चंद्रयान-3 के कक्षा में सफल प्रक्षेपण के बाद इसरो में जश्न मनाया गया। चंद्रयान-3 परियोजना के निदेशक पी वीरमुथुवेल और इसरो प्रमुख एस सोमनाथ ने एलवीएम3-एम 4 वाहन के सफलतापूर्वक कक्षा में लॉन्च करने के बाद अपनी खुशी साझा की। इसरो ने कहा कि चंद्रयान-3 ने अपनी सटीक कक्षा में चंद्रमा की ओर अपनी यात्रा शुरू कर दी है। अंतरिक्ष यान का स्वास्थ्य सामान्य है।
चंद्रयान की लॉन्चिंग पर मौजूद थें ये लोग
केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह मुख्य अतिथि के तौर श्रीहरिकोटा स्थित सतीश धवन सेंटर पहुंचे थे। इसके अलावा पूर्व इसरो चीफ राधाकृष्णन, के सिवन और एएस किरण कुमार भी चंद्रयान-3 की लॉन्चिंग पर मौजूद थे। इनके साथ ही लॉन्चिंग देखने के लिए हजारों की संख्या में लोग पहुंचे थे।