2020 में साहेबगंज के बरहरवा में हाट बाजार की बंदोबस्ती को लेकर हुए टेंडर विवाद की जांच अब ईडी ने शुरु की है।
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रांची,16 अप्रैल। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने झारखंड सरकार के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम पर शिकंजा कसने लगा है। जून 2020 में साहेबगंज के बरहरवा में हाट बाजार की बंदोबस्ती को लेकर हुए टेंडर विवाद की जांच अब ईडी ने शुरु की है। मामले में विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा सहित कई अन्य लोग भी आरोपी हैं। ईडी दर्ज प्राथमिकी की भी जानकारी मांगी है। बरहरवा थाने में दर्ज केस के आधार पर प्रिवेंशन ऑफ मनी लाउंड्रिंग एक्ट के तहत जांच शुरू की है। ठेकेदार शंभू नंदन भगत ने मंत्री आलमगीर आलम, बरहेट विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा समेत कई लोगों पर नामजद प्राथमिकी दर्ज करायी थी।
शंभू नंदन प्रसाद के खिलाफ भी दो अन्य लोगों ने ठेका विवाद में मुकदमा दर्ज कराया था। मामले में केस दर्ज किये जाने के बाद ईडी के रांची जोनल ऑफिस के असिस्टेंट डायरेक्टर देवव्रत झा ने इस संबंध ठेकेदार को नोटिस जारी कर जानकारी मांगी है। इस मामले में वायरल हुए एक ऑडियो में आलमगीर आलम, पंकज मिश्रा और शंभु नंदन भगत बातचीत करते दिखे थे। ऑडियो में पंकज मिश्रा और शंभू नंदन भगत के बीच तीखी बहस भी रिकॉर्ड हुई थी।
#BreakingNews: झारखंड से बड़ी खबर।
➡मंत्री आलमगीर आलम पर कसा #ED का शिकंजा।
➡ED ने #MoneyLaundering मामले के तहत शुरू की जांच।
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➡झारखंड के ग्रामीण विकास मंत्री है आलमगीर आलम। @Alamgircongress @INCJharkhand @dasraghubar @JmmJharkhand @HemantSorenJMM @BJP4Jharkhand pic.twitter.com/IOnV1HSgFO
— India Voice (@indiavoicenews) April 16, 2022
ईडी ने बरहरवा थाने में टेंडर विवाद से जुड़ी एफआईआर की सारी जानकारी मांगी है। ईडी ने यह भी जानकारी मांगी है कि जिस टेंडर प्रकिया में शामिल होने से ठेकेदार शंभू नंदन को रोका गया था, उसमें कितने की राशि जुड़ी थी। साथ ही ईडी पूरी टेंडर प्रकिया और इससे होने वाले संभावित आय की जानकारी जुटाने में लगी है।
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