बांग्लादेश में आरक्षण के खिलाफ छात्रों के प्रदर्शन से वहां के हालात बिगड़ गए हैं। हजारों प्रदर्शनकारी PM आवास में घुस गए हैं। हालात को देखते हुए प्रधानमंत्री शेख हसीना ने देश छोड़ दिया है। हालात से निपटने के लिए सेना उतर गई है। अब तक की हिंसा में कम से कम 300 लोगों की मौत हो चुकी है।
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नई दिल्ली। बांग्लादेश में आरक्षण के खिलाफ छात्रों के प्रदर्शन से वहां के हालात बिगड़ गए हैं। हजारों प्रदर्शनकारी PM आवास में घुस गए हैं। हालात को देखते हुए प्रधानमंत्री शेख हसीना ने देश छोड़ दिया है। हालात से निपटने के लिए सेना उतर गई है। अब तक की हिंसा में कम से कम 300 लोगों की मौत हो चुकी है।
पूरे बांग्लादेश में रविवार शाम छह बजे से कर्फ्यू लगा हुआ है। बताया जाता है कि शेख हसीना बहन साथ भारत में शरण ले सकती हैं। वहीं बांग्लादेश के सेना प्रमुख वकार-उज-जमां देशवासियों को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि शेख हसीना ने पद से इस्तीफा दे दिया है। जल्द ही एक अंतरिम सरकार का गठन करेंगे। देश में जल्द ही स्थिति सामान्य हो जाएगी। बांग्लादेश में हाल ही में पुलिस और छात्र प्रदर्शनकारियों के बीच हिसंक झड़पें हुईं हैं।
विवादित आरक्षण प्रणाली को समाप्त करने की मांग कर रहे हैं प्रदर्शनकारी छात्र
प्रदर्शनकारी छात्र विवादित आरक्षण प्रणाली को समाप्त करने की मांग कर रहे हैं। इसके तहत बांग्लादेश के लिए वर्ष 1971 में आजादी की लड़ाई लड़ने वाले स्वतंत्रता संग्रामियों के परिवारों के लिए 30 प्रतिशत सरकारी नौकरियां आरक्षित की गईं हैं। उधर, बांग्लादेश की प्रधानमंत्री के बेटे साजिब वाजेद जॉय ने सुरक्षा बलों से सरकार से जुड़े लोगों के अलावा सभी उपद्रवियों को रोकने का अनुरोध किया है।
अमेरिका में रहने वाले जॉय ने फेसबुक पोस्ट में कहा कि आपका कर्तव्य हमारे लोगों और हमारे देश को सुरक्षित रखना और संविधान को बनाए रखना है। सिविल सेवा नौकरियों के कोटा के खिलाफ पिछले महीने शुरू हुई रैलियां हसीना के 15 साल के कार्यकाल की सबसे गंभीर अशांति में बदल गई है।
भारत सरकार ने अपने नागरिकों के लिए जारी की एडवाइजरी
उधर, बांग्लादेश में तेजी से बदलते घटनाक्रम पर भारत ने भी नजर रखनी शुरू कर दी है। BSF ने भारत-बांग्लादेश सीमा पर अपने जवानों को हाई अलर्ट पर रखा है। भारत सरकार ने अपने नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी की है कि वहां के हालात को देखते हुए अभी बांग्लादेश न जाएं।