गुजरात, 16 जून 2022। आज गुजरात की राजनीति में शामिल होने वाले पाटीदार नेता नरेश पटेल ने पत्रकारों को बताया कि वह फिलहाल राजनीति में नहीं आना चाहते हैं। गुजरात के खोडलधाम ट्रस्टी व पाटीदार नेता नरेश पटेल के इस फैसले से गुजरात की भाजपा पार्टी ने राहत की सांस ली है। वहीं कांग्रेस को इससे बड़ा झटका लगा है। प्रदेश के युवा व महिलाएं पाटीदार नेता नरेश पटेल को राजनीति में देखना चाहते थे, लेकिन बुजुर्ग इससे नाराज थे। राजकोट के पास कागवड गांव के खोडलधाम ट्रस्ट परिसर में पाटीदार नेता नरेश पटेल ने पत्रकारों को राजनीति में शामिल होने के फैसले पर अपना निर्णय बताया।

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युवाओं को देंगे राजनीति का प्रशिक्षण 

गुजरात में पाटीदार नेता नरेश पटेल खोडलधाम में रहकर शिक्षा, स्वास्थ्य व कृषि जैसे मुद्दों पर काम करना चाहते हैं। खुद राजनीति में नहीं आ रहे हैं, लेकिन युवाओं को राजनीति का प्रशिक्षण देने के लिए एक अकादमी शुरू करेंगे। उन्होंने कहा कि एक राजनीतिक दल में जाने से सभी समाज का कार्य करना मुश्किल हो जाता है, वे चाहते हैं उनके सामाजिक कार्य का लाभ हर समाज के लोगों को मिले। उन्होंने कहा कि भाजपा 27 साल से राज्य में सत्ता में है, इसलिए उसके सामने लोगों में असंतोष तो होगा। उनका मानना है कि लोकतंत्र में एक मजबूत विपक्ष होना चाहिए। राज्य में दिसंबर, 2022 में चुनाव की संभावना है।

कांग्रेस में शामिल होने की थी चर्चा 

बीते कुछ दिनों से कयास लगाए जा रहा था, नरेश पटेल गुजरात के चुनाव में कांग्रेस की ओर से खड़े हो सकते हैं। कई जानकारों ने उन्हें कांग्रेस का सीएम चेहरा भी घोषित कर दिया था। लेकिन आज उन्होंने खुद को राजनीति से दूर रखने का ऐलान कर दिया है। नरेश पाटीदार के इस फैसले से भाजपा को राहत मिली है।

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