चोपता से देवरिया ताल ट्रैक पर फंसे चार युवकों को SDRF की रेस्क्यू टीम ने सुरक्षित बचा लिया। चारों घूमने निकले थे। इस दौरान रास्ते में भारी बारिश के बीच फंस गए। सूचना मिलते ही एसडीआरएफ की टीम रेस्क्यू के लिए देवरिया ताल पहुंच गई। घने जंगल एवं दुर्गम रास्ते से रात्रि में एसडीआरएफ की टीम ने चारों युवकों को सकुशल रेस्क्यू कर लिया।
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रुद्रप्रयाग। चोपता से देवरिया ताल ट्रैक पर फंसे चार युवकों को SDRF की रेस्क्यू टीम ने सुरक्षित बचा लिया। चारों घूमने निकले थे। इस दौरान रास्ते में भारी बारिश के बीच फंस गए। सूचना मिलते ही एसडीआरएफ की टीम रेस्क्यू के लिए देवरिया ताल पहुंच गई। घने जंगल एवं दुर्गम रास्ते से रात्रि में एसडीआरएफ की टीम ने चारों युवकों को सकुशल रेस्क्यू कर लिया।
बारिश के बीच जंगल और पहाड़ियों में फंस गए थे चारों युवक
बरेली निवासी अभय गौड़ (22), अतीव आहूजा (23), आर्यन पटानी (23) और मोनीष गौतम (23) ने पर्यटक स्थल चोपता से देवरिया ताल तक ट्रैकिंग करने का निर्णय लिया। वे गूगल मैप की सहायता से पहाड़ियों और जंगलों के बीच पगडंडियों पर चल पड़े। यात्रा के दौरान आधे रास्ते पहुंचते ही अचानक तेज बारिश शुरू हो गई। उनका फोन भी पानी में गिर गया, जिससे डाउनलोड किए गए गूगल मैप बंद हो गए और वे रास्ता भटक गए। बढ़ते अंधेरे और बारिश ने स्थिति को और भी बिगाड़ दिया।
उन्होंने अपनी स्थिति पुलिस से साझा की, स्थानीय पुलिस से सूचना मिलते ही SDRF की टीम ने तत्परता दिखाते हुए एसडीआरएफ उत्तराखंड पुलिस की अगस्तमुनि टीम ने सब इंस्पेक्टर धर्मेंद्र सिंह के नेतृत्व में रात में ही रेस्क्यू का कार्य शुरू किया गया। घने अंधेरे के बीच टीम ने टॉर्च जलाकर और मोबाइल फोन के माध्यम से संपर्क कर आवाज देकर चारों युवकों को ढूंढने का प्रयास किया।
आखिरकार काफी प्रयासों के बाद रात के 2:30 बजे टीम ने उन्हें सुरक्षित रूप से खोज कर रेस्क्यू किया। इस साहसिक रेस्क्यू ऑपरेशन में अगस्त्यमुनि पोस्ट के प्रभारी सब इंस्पेक्टर धर्मेंद्र सिंह, कांस्टेबल अनूप, कांस्टेबल मुकेश, कांस्टेबल धीरेंद्र, पैरामेडिक्स विनय और होमगार्ड अरुण शामिल रहे।