शिरोमणी अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि हमने NDA की राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को समर्थन देने का फैसला किया है।
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चंडीगढ़, 01 जुलाई। शुक्रवार को शिरोमणी अकाली दल (शिअद) ने राष्ट्रपति चुनाव में NDA उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू का समर्थन करने का फैसला किया है। अकाली दल का मानना है कि द्रौपदी मुर्मू अल्पसंख्यकों, शोषित और पिछड़े वर्गों के साथ-साथ महिलाओं की प्रतीक हैं और देश में गरीब और आदिवासी वर्गों के प्रतीक के रूप में उभरी हैं। यही वजह है कि पार्टी राष्ट्रपति चुनाव में द्रौपदी मुर्मू का समर्थन करेगी। सिख समुदाय पर अत्याचारों के कारण हम कांग्रेस के साथ कभी नहीं जाएंगे।
Shiromani Akali Dal has accepted the appeal of Ms Draupadi Murmu for support in the forthcoming presidential poll as she symbolizes the cause of minorities, tribals, the exploited and backward classes as well as the dignity of women. She has emerged as a symbol of the poor. pic.twitter.com/GOj9Axsw4L
— Sukhbir Singh Badal (@officeofssbadal) July 1, 2022
वहीं अकाली दल अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने पार्टी के नेता बलविंदर सिंह भूंदड़, प्रेम सिंह चंदूमाजरा और चरणजीत सिंह अटवाल के साथ यूटी गेस्ट हाउस में द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की और उन्हें अकाली दल के समर्थन की पेशकश की। पार्टी की कोर कमेटी ने द्रौपदी मुर्मू को समर्थन देने का सर्वसम्मति से फैसला लिया है। सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि अकाली दल कभी ऐसे उम्मीदवार का समर्थन नहीं कर सकता जिसे कांग्रेस पार्टी ने समर्थन दिया है, क्योंकि कांग्रेस ने ना केवल श्री दरबार साहिब पर हमला किया, बल्कि 1984 में सिखों के कत्लेआम की भी जिम्मेदार है।
We continue to have political differences with the BJP be it on the farm laws earlier or the issue of release of the Sikh detenues presently, but we cannot support a candidate propped up by the Congress party which attacked Sri Darbar Sahib & massacred thousands of Sikhs in 1984. pic.twitter.com/QYyeP6m0Nk
— Sukhbir Singh Badal (@officeofssbadal) July 1, 2022
सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि बढ़ते विभाजनकारी और सांप्रदायिक ध्रुवीकरण के मौजूदा माहौल में बीजेपी के साथ हमारा गंभीर विरोध है। विशेष रूप से NDA सरकार के तहत अल्पसंख्यक समुदाय में असुरक्षा बरकरार है। अकाली दल फिर भी मुर्मू का समर्थन करता है, क्योंकि वो ना केवल महिलाओं की गरिमा का प्रतीक हैं, बल्कि आदिवासी वर्ग से भी संबंधित हैं।
SAD will continue to espouse and strive to get all issues of Sikhs & Punjab resolved including securing the release of Bandi Singhs languishing in jails after completion of their sentences, handing over Chandigarh to Punjab & ensuring the status of @OfficialPU is not changed. 3/3 pic.twitter.com/N1Rt1DpqZh
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— Sukhbir Singh Badal (@officeofssbadal) July 1, 2022
अकाली दल प्रमुख ने कहा कि कोर कमेटी की पार्टी मुख्यालय में 3 घंटे से अधिक समय तक चली चर्चा के आखिर में प्रस्ताव पारित किया गया। बैठक के बाद अकाली दल अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि पार्टी मानवाधिकारों को विशेष रूप से धार्मिक सहिष्णुता और अभिव्यक्ति की आजादी जैसे लोकतांत्रिक मूल्यों के खतरे से भी चिंतित है, जैसा कि सिखों के खिलाफ और पंजाब के साथ अन्याय को उजागर करने वाली सामग्री पर प्रतिबंध लगाने में देखा गया है। पार्टी अपने मूल पंजाबी समर्थक, अल्पसंख्यक समर्थक, किसानों की हितैषी और गरीबों के हितैषी एजेंडे से कभी नहीं हटेगी।