केजरीवाल सरकार ने सार्वजनिक सुरक्षा बढ़ाने और बिजली से होने वाली दुर्घटनाओं में पीड़ितों को समय पर सहायता सुनिश्चित करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है। इस दिशा में दिल्ली विद्युत नियामक आयोग (डीईआरसी) व्यापक गाइड लाइन्स तैयार करेगा।
Updated Date
नई दिल्ली। केजरीवाल सरकार ने सार्वजनिक सुरक्षा बढ़ाने और बिजली से होने वाली दुर्घटनाओं में पीड़ितों को समय पर सहायता सुनिश्चित करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है। इस दिशा में दिल्ली विद्युत नियामक आयोग (डीईआरसी) व्यापक गाइड लाइन्स तैयार करेगा।
दिल्ली विद्युत नियामक आयोग तैयार करेगा व्यापक गाइड लाइन्स
इन गाइड लाइन्स से केजरीवाल सरकार का उद्देश्य बिजली से होने वाली घटनाओं को रोकना, सुरक्षा सुनिश्चित करना और दुर्घटना होने पर प्रभावित परिवारों की मदद के लिए पर्याप्त मुआवजा प्रदान करना है। हाल के दिनों में दिल्ली में करंट लगने की घटनाओं पर त्वरित संज्ञान लेते हुए केजरीवाल सरकार ने ये फ़ैसला लिया है।
यह महत्वपूर्ण निर्णय 2021 में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) द्वारा जारी आदेशों का पालन करता है और दिल्ली के लोगों की सुरक्षा के लिए बिजली विभाग की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। ऊर्जा मंत्री आतिशी ने कहा कि ये गाइडलाइन्स राज्य के अधिकारियों और बिजली वितरण कंपनियों (डिस्कॉम) को बिजली से होने वाली दुर्घटनाओं, करंट लगने की घटनाओं को रोकने के लिए ज़रूरी कदम उठाने में मददगार साबित होगा।
बता दें कि इन घटनाओं की रोकथाम के निवारक उपायों में नियमित निरीक्षण और अवैध निर्माणों और अतिक्रमणों को हटाना शामिल है, जो सार्वजनिक सुरक्षा के लिए गंभीर जोखिम पैदा कर सकते हैं। ऊर्जा मंत्री आतिशी ने कहा कि बिजली का झटका लगने या श्रमिकों के घायल होने का परिवारों पर गहरा प्रभाव पड़ता है।
पीड़ितों को दिया जाएगा पर्याप्त मुआवजाः ऊर्जा मंत्री
केजरीवाल सरकार उनके कठिन समय में उनका साथ देने के लिए प्रतिबद्ध है। गाइड लाइन्स पीड़ितों को पर्याप्त मुआवजे के लिए एक रूपरेखा स्थापित करेगा। बिजली मंत्री आतिशी ने कहा कि दिल्ली के लोगों की सुरक्षा और बेहतरी सुनिश्चित करने की दिशा में दिल्ली विद्युत नियामक आयोग सभी संबंधित स्टेकहोल्डर्स के साथ मिलकर इन गाइड लाइन्स को तैयार करने के लिए काम करेगा।