तेजस्वी यादव ने शरद यादव को आश्वासन दिया है कि राज्यसभा चुनाव के लिए राजद के दो उम्मीदवारों में से वो एक होंगे।
Updated Date
नई दिल्ली, 20 मार्च। जनता दल (यू) के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष और समाजवादी नेता शरद यादव रविवार को राष्ट्रीय जनता दल (राजद) में 25 साल बाद फिर से शामिल हो गए। उन्होंने लालू प्रसाद यादव के नेतृत्व वाली राजद में अपनी पार्टी लोकतांत्रिक जनता दल (LJD) के विलय की घोषणा करते हुए इसे विपक्षी एकता की दिशा में पहला कदम बताया है।
बीजेपी को हराने के लिए पूरे देश में विपक्ष एकजुट हो- यादव
विलय के बाद शरद यादव ने कहा कि उनकी पार्टी का अब राजद में विलय विपक्षी एकता की ओर पहला कदम है। यादव ने कहा कि ये जरूरी है कि बीजेपी को हराने के लिए पूरे देश में विपक्ष एकजुट हो जाए। अभी तक एकीकरण हमारी प्राथमिकता है, इसके बाद ही हम सोचेंगे कि एकजुट विपक्ष का नेतृत्व कौन करेगा।
तेजस्वी का शरद यादव को आश्वासन
इससे पहले राजद नेता तेजस्वी यादव और राज्यसभा सांसद मनोज कुमार झा ने शरद यादव से उनके नई दिल्ली स्थित आवास पर मुलाकात की थी। बताया जा रहा है कि तेजस्वी ने शरद यादव को आश्वासन दिया है कि वो राज्यसभा चुनाव के लिए राजद के दो उम्मीदवारों में से वो एक होंगे। ये चुनाव जून में होने हैं।
गौरतलब है कि 1997 में जनता दल अध्यक्ष के चुनाव में लालू प्रसाद और शरद के बीच प्रतिद्वंदिता के कारण शरद को पार्टी से बाहर होना पड़ा था। इसके बाद लालू ने राजद का गठन किया था। वहीं जनता दल का नीतीश कुमार की ओर से गठित समता पार्टी में विलय हो गया और शरद जदयू के पहले अध्यक्ष बने। बिहार में भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन के कारण जनता दल (यूनाइटेड) से अलग होने के बाद मई 2018 में शरद यादव ने लोकतांत्रिक जनता दल (LJD) का गठन किया।