EAM S Jaishankar Russia Visit: भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर पर आज दुनिया भर की नजर टिकी हुई है,विदेश मंत्री अपनी दो दिवसीय रूस की यात्रा पर आज मास्को पहुंच चुके है,आज विदेश मंत्री एस जयशंकर रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव के साथ कई मुद्दो पर चर्चा करेंगे,रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध से बढ़ने वाले तनाव को लेकर अंतरराष्ट्रीय चिंताओं पर यह चर्चा केन्द्रित होगी,साथ ही कई द्विपक्षीय मुद्दों और विभिन्न क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर भी दोनों पक्षों के बीच आज बातचीत हो सकती है
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News Delhi:भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर पर आज दुनिया भर की नजर टिकी हुई है,विदेश मंत्री अपनी दो दिवसीय रूस की यात्रा पर आज मास्को पहुंच चुके है,आज विदेश मंत्री एस जयशंकर रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव के साथ कई मुद्दो पर चर्चा करेंगे, रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध से बढ़ने वाले तनाव को लेकर अंतरराष्ट्रीय चिंताओं पर यह चर्चा केन्द्रित होगी,साथ ही कई द्विपक्षीय मुद्दों और विभिन्न क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर भी दोनों पक्षों के बीच आज बातचीत हो सकती है
इस साल की शुरुआत में रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध शुरू हो गया था,इसके बाद रूस पर कई तरह के व्यापारिक प्रतिबंध पश्चिमी देशों ने लगा दिये थे, इसका असर मास्को से तेल आयात पर भी पड़ा था, लेकिन भारत मास्को से तेल आयात करता रहा और पश्चिमी देशों को यह चुभने लगा,इसे एक तरह से भारत द्वारा रूस का साथ माना जाने लगा.
वहीं विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने पहले ही इस यात्रा को लेकर कहा था कि इस यात्रा के विभिन्न क्षेत्रों में द्विपक्षीय आर्थिक सहयोग से संबंधित मुद्दों पर चर्चा की जाएगी, इसके साथ ही विभिन्न क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय घटनाक्रम पर विचारों के आदान-प्रदान की भी उम्मीद है.
रूसी विदेश मंत्रालय के एक बयान के अनुसार, जयशंकर और लावरोव इस बात पर भी चर्चा करेंगे कि महत्वपूर्ण क्षेत्रों में ‘सहयोगी सहयोग को कैसे आगे बढ़ाया जाए’ और आगामी बैठकों पर नोट्स साझा करेंगे. इसके अतिरिक्त, जयशंकर रूस के उप प्रधान मंत्री और व्यापार और उद्योग मंत्री डेनिस मंटुरोव से भी बात करेंगे. इसके अलावा रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से भी विदेश मंत्री जयशंकर की मुलाकात की उम्मीद है. मालूम हो कि भारत ने संघर्ष की शुरुआत के बाद से रूस की निंदा नहीं की है और अपनी स्वतंत्र स्थिति बनाए रखी है. इससे इतर भारत लगातार कई संयुक्त राष्ट्र मंचों पर हिंसा को खत्म करने का आह्वान करता रहा है.